टिहरी झील में राष्ट्रीय वाटर स्पोर्ट्स शुरू, यहीं से होंगे ओलंपिक-एशियाड के चयन

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मुख्यमंत्री धामी और केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह ने किया चैंपियनशिप का शुभारंभ

नई टिहरी। कॉर्बेट हलचल

विश्व प्रसिद्ध टिहरी झील में बुधवार से तीन दिवसीय वाटर स्पोर्ट्स एशियाई चैंपियनशिप शुरू हो गई है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह ने चैंपियनशिप का शुभारंभ किया। इसी चैंपियनशिप के जरिये खिलाड़ी 2022-23 के ओलंपिक और एशियाई गेम्स के लिए क्वालीफाइ होंगे।

टिहरी में इंटरनेशनल कायकिंग व केनोइंग प्रशिक्षण केंद्र खुलेगा

इस दौरान केंद्रीय ऊर्जा मंत्री ने टिहरी झील के पास इंटरनेशनल स्तर के कायकिंग व केनोइंग प्रशिक्षण केंद्र खोलने की घोषणा की। उन्होंने टिहरी डैम टॉप से आवागमन का समय एक घंटे बढ़ाने की बात कही। कहा कि टीएचडीसी कायकिंग और कैनोइंग खेलों को अंगीकृत (अडॉप्ट) करेगी। सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि टिहरी झील नया एडवेंचर डेस्टिनेशन बन रहा है। देहरादून से टिहरी के लिए सुरंग का सर्वे किया जा रहा है। नौकरी में खेल कोटा निर्धारित किया जाएगा। इस मौके पर राज्यसभा सांसद नरेश बंसल, टीएचडीसी के सीएमडी आरके विश्नोई, विधायक किशोर उपाध्याय, देवप्रयाग विधायक विनोद कंडारी, शक्ति लाल शाह, विक्रम सिंह नेगी आदि उपस्थित रहे।

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टिहरी झील में बुधवार को नेशनल वाटर स्पोर्ट्स चैंपियनशिप शुरू हो गए। फोटो- सोशल मीडिया

देशभर से राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय 260 खिलाड़ी पहुंचे

फोर्थ रैंकिंग एवं ओपन केनो (डोंगी) स्प्रिंट सीनियर पुरुष व महिला चैंपियनशिप के लिए देशभर के राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रदर्शन करने वाले 260 खिलाड़ी टिहरी पहुंचे हैं। टिहरी में ही इन खिलाड़ियों की रैंकिंग तय होगी। उत्तराखंड ओलंपिक एसोसिएशन के महासचिव डॉ. डीके सिंह ने बताया सेना, बीईजी, दिल्ली, हिमाचल, हरियाणा, मध्य प्रदेश, पंजाब, राजस्थान, यूपी, केरल, त्रिपुरा, भारतीय नौ सेना, उत्तराखंड, बिहार राज्यों के एथलीट यहां पहुंचे हैं।

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पहली बार टिहरी में राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता

टीएचडीसी और आईटीबीपी के तकनीकी सहयोग से इंडियन ओलंपिक संघ, उत्तराखंड ओलंपिक एसोसिएशन और उत्तराखंड कयाकिंग एवं केनोइंग एसोसिएशन (यूकेसीए) की पहल पर पहली बार टिहरी झील में राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता कराई जा रही है।  टिहरी झील में के-2, के-4, के-1 और सी-2, सी-4 और सी-के में दमखम दिखाएंगे। यहां के- का अर्थ कयाकिंग जबकि सी- का अर्थ कैनोइंग है। झील में 1000 मीटर, 500 मीटर और 200 मीटर का रेसकोर्स तैयार कर बलून और रोप डाली गई हैं। झील में उत्तराखंड कयाकिंग एवं केनोइंग एसोसिएशन की ओर से पहली बार कैनो पोलो का डेमो भी सीएम और केंद्रीय मंत्री के सम्मुख दिया जाएगा। कैनो पोलो में खिलाड़ी झील के ऊपर कयाक को पोलो के रूप में प्रयोग करते हैं।

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नेलो बोट का प्रयोग होगा

टिहरी बांध की झील में टिहरी वाटर स्पोर्ट्स में अंतरराष्ट्रीय खेलों के दौरान प्रयोग होने वाली नेलो बोट का प्रयोग किया जाएगा। नेलो एक पुर्तगाली कंपनी है। जो रेसिंग, टूरिंग, फिटनेस, सी-रेसिंग, पैराकेनो, सर्फस्सी ओर स्लैलम के लिए कश्ती, डोंगी का डिजाइन और निर्माण करती है। ओलंपिक सहित सभी इंटरनेशनल खेल में इसी बोट से कयाकिंग और कैनोइंग की जाती है।

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